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प्रयागराज में 13 जनवरी से शुरू हुए महाकुंभ का समापन हो चुका है. श्रद्धालुओं का हुजूम लगातार संगम नगरी में पहुंच रहा है. इसी बीच कई लोग महाकुंभ में स्नान करने वाले वीआईपी लोगों की आलोचना कर रहे थे.
लेकिन इस कारण क्या एक व्यक्ति ने महाकुंभ में वीआईपी बनकर पहुंचे एक डीएम को थप्पड़ मार दिया है? सोशल मीडिया पर एक वीडियो शेयर करते हुए यूजर्स यही दावा कर रहे हैं.
वीडियो में एक शख्स हाथ में माइक लिए खड़ा है, उसके आसपास काफी भीड़-भाड़ है. इसी बीच वहां एक काली गाड़ी आती है. माइक वाला शख्स इस गाड़ी को रोकता है और ड्राइवर से भीड़ में गाड़ी लाने पर सवाल करता है. जवाब में ड्राइवर कहता है कि पीछे वीआईपी बैठे हैं. इसपर शख्स जवाब देता है कि भगवान के यहां कोई वीआईपी नहीं होता.
इसके बाद गाड़ी की पीछे वाली सीट से एक शख्स उतरता है अंग्रेजी में कहता है, “आई एम डीएम”. देखते ही देखते माइक वाला शख्स इस व्यक्ति को थप्पड़ मार देता है. इसके बाद एक पुलिस वाला आता है और माइक वाले शख्स को पकड़ने की कोशिश करता है. मगर तब तक माइक वाला शख्स भगवा कपड़े से अपना मुंह ढक कर आता है और कहता है, “महाकुंभ में आपका स्वागत है इसी तरह से इलाज करना चाहिए जो भी वीआईपी नियमों का पालन नहीं करे.”
इस वीडियो को महाकुंभ का बताते हुए लोग डीएम को थप्पड़ मारने वाले व्यक्ति को सराह रहे हैं. वीडियो पर टेक्स्ट लिखा है “महाकुम्भ भाई ने बहुत अच्छा किया ओर दो चार लगाना था जोर से DM”. इस वीडियो को एक्स पर शेयर करते हुए एक यूजर ने लिखा, VIP का ईलाज, राम राज में DM को भी थप्पड़ जड़े जा रहे है!” वायरल पोस्ट का आर्काइव्ड वर्जन यहां देखा जा सकता है.
आजतक फैक्ट चेक ने पाया कि वायरल वीडियो स्क्रिप्टेड है और महाकुंभ का नहीं है. इसे एक यूट्यूब चैनल पर मनोरंजन के लिए अपलोड किया गया है.
कैसे पता चली सच्चाई?
वायरल वीडियो से जुड़े कीफ्रेम्स को खोजने पर हमें इस वीडियो का करीब 12 मिनट लंबा वर्जन हर्ष राजपूत नाम के एक यूट्यूब चैनल पर मिला. वायरल वीडियो वाला हिस्सा इस वीडियो में 4:15 के मार्क पर देखा जा सकता है.
मगर वीडियो की शुरुआत में ही हमें डिसक्लेमर लिखा दिखा. अंग्रेजी में लिखे डिसक्लेमर के अनुसार, ये वीडियो स्क्रिप्टटेड है और इसे सिर्फ मनोरंजन के लिए बनाया गया है.
वीडियो को पूरा देखने पर हमें कई ऐसे क्लू भी मिले जिससे ये साबित होता है कि वीडियो स्क्रिप्टेड है. मसलन, इस वीडियो में प्रयागराज महाकुंभ में वायरल हुए कई लोगों की नकल की गई है. जैसे “आईआईटी बाबा”, “एक हाथ ऊपर रखने वाले बाबा” वगैरह.
चूंकि ये बात साबित हो गई कि वीडियो स्क्रिप्टेड है, हमने ये जानने की कोशिश की कि ये वीडियो रिकॉर्ड कहां किया गया है. वीडियो को गौर से देखने पर हमें “सुल्लामल रामलीला कमेटी” और “राम भवन” लिखा हुआ दिखा. इस जानकारी के आधार पर खोजा तो हमें इसकी लोकेशन भी मिल गई. दरअसल, ये जगह गाजियाबाद का घंटाघर रामलीला मैदान है. गूगल मैप्स पर घंटाघर रामलीला मैदान की तस्वीरों को वीडियो में दिख रही जगहों से मिलाने पर भी ये बात साफ हो गई कि दोनों जगहें एक ही हैं.
इस तरह ये साफ हो जाता है कि गाजियाबाद में रिकॉर्ड किये गए एक स्क्रिप्टेड वीडियो को महाकुंभ का समझ कर शेयर किया जा रहा है.
[डिस्क्लेमर: यह रिपोर्ट Shakti Collective के पार्ट के तहत पहले AAJTAK पर छपी थी. एबीपी लाइव हिंदी ने हेडलाइन के अलावा रिपोर्ट में कोई बदलाव नहीं किया है.]
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